ध नबाद, झारखंड बांग्ला भाषा उन्नयन समिति ने आज दिनांक 2 जून को धनबाद के हीरापुर स्थित जे-सी मालिक में श्री श्यामल राय के आवास पर एक आवश्यक बैठक का आयोजन किया. इस बैठक में समिति के सदस्यों के बारे में गहन चर्चा की गई, साथ ही झारखंड सरकार द्वारा बांग्ला भाषा के प्रति अपनाई जा रही कथित उपेक्षित मनोवृत्ति पर भी कड़ा विरोध दर्ज कराया गया.
बैठक की अध्यक्षता श्री सार्थक चौधरी ने की. इस महत्वपूर्ण सभा में झारखंड बांग्ला भाषा उन्नयन समिति के संस्थापक श्री बेंगू ठाकुर विशेष रूप से उपस्थित थे, जिन्होंने समिति के उद्देश्यों और भविष्य की योजनाओं पर प्रकाश डाला.
सभा का एक प्रमुख एजेंडा समिति की सदस्यता बढ़ाने पर केंद्रित था. उपस्थित सदस्यों ने समिति को और अधिक सशक्त बनाने तथा बांग्ला भाषा के उन्नयन के लिए व्यापक स्तर पर लोगों को जोड़ने की आवश्यकता पर बल दिया. इस बात पर सहमति बनी कि अधिक से अधिक लोगों को समिति से जोड़कर ही बांग्ला भाषा के अधिकारों की रक्षा और उसके प्रचार-प्रसार को प्रभावी ढंग से किया जा सकता है.
बैठक में झारखंड सरकार की उस कथित मनोवृत्ति की घोर निंदा की गई, जिसके तहत बांग्ला भाषा को अपेक्षित महत्व नहीं दिया जा रहा है. समिति का मानना है कि बांग्ला झारखंड की एक महत्वपूर्ण भाषा है और इसके भाषाई और सांस्कृतिक महत्व को बनाए रखना सरकार की जिम्मेदारी है. सदस्यों ने एक स्वर में सरकार से इस दिशा में सकारात्मक कदम उठाने की अपील की.
इस अवसर पर समिति के कई वरिष्ठ और महत्वपूर्ण सदस्य उपस्थित रहे, जिनमें जिला अध्यक्ष सूचित रंजन मुखर्जी, राज्य कमेटी उपाध्यक्ष भवानी बंद्योपाध्याय, और जिला कोषाध्यक्ष श्री शिबू चक्रवर्ती प्रमुख थे. इनके अतिरिक्त, श्री श्यामल राय, गोविंदो ठाकुर, एडवोकेट सार्थक चौधरी, सोपन चैटर्जी, रक्तिमा सरकार, सोपन पाण्डेय, तरुण गोस्वामी, अमर नाथ सरकार, जमिनी पाल, बबलू सरकार, नंदा राय सहित कई अन्य सदस्य भी बैठक में उपस्थित होकर अपने विचार व्यक्त किए. सभी ने समिति के उद्देश्यों को प्राप्त करने के लिए एकजुट होकर कार्य करने का संकल्प लिया.
यह बैठक बांग्ला भाषा के संरक्षण और संवर्धन के लिए समिति की प्रतिबद्धता को दर्शाती है, और भविष्य में इस दिशा में और भी सक्रिय कदम उठाने का संकेत देती है.