
कांग्रेस की चर्चित नेत्री हिमानी नरवाल का जिस हालत में शव मिला है, उसने हर किसी को हैरान कर दिया है। राहुल गांधी के बेहद करीब मानी जाने वाली हिमानी की जान किसने ली, अब इस मामले की जांच उठने लगी है। दरअसल हरियाणा में रोहतक के सांपला कस्बा के बस स्टैंड के पास 1 मार्च की सुबह नीले रंग का लावारिस सूटकेस रखा हुआ था।
राहगीरों की नजर जब उस पर पड़ी तो किसी ने पुलिस को सूचना दी। पुलिस ने सूटकेस खोला तो उसमें कांग्रेस नेत्री हिमानी नरवाल का शव मिला था।
हिमानी नरवाल भारत जोड़ो यात्रा के दौरान राहुल गांधी के साथ फोटो सोशल मीडिया पर वायरल हुई थी, हिमानी भारत जोड़ो यात्रा से रोहतक में जुड़ीं थीं और श्रीनगर तक गई थीं। हिमानी की मां ने कहा, ‘मैं बेटी के साथ 27 फरवरी की शाम 4 बजे तक थी। इसके बाद मैं घर से गई हूं, 28 को फोन किया तो फोन बंद आ रहा था।
बताया जा रहा है कि काठमंडी में एक प्रोग्राम था, जिसमें हुड्डा साहब आने वाले थे। उस प्रोग्राम में उसे जाना भी था. मेरी बेटी पिछले 10 वर्षों से कांग्रेस से जुड़ी थी। मेरी बेटी साफ-सुथरी राजनीति करना चाहती थी। कई बार कांग्रेस के बड़े कार्यकर्ताओं से उसकी बहस भी हुई थी। उसको कंप्रोमाइज करने को भी कहा जाता था। लेकिन मेरी बेटी कहती थी कि जो सही होगा, वही मैं करूंगी। इसके चलते कई लोग उसके विरोध में थे।
पुलिस ने एफएसएल एक्सपर्ट डॉक्टर सरोज दहिया के साथ जांच की। लड़की के गले में चुन्नी बंधी मिली। एफएसएल टीम को युवती की नाक से खून बहता मिला है। इसके अलावा सूटकेस से कुछ कपड़े भी बरामद हुए हैं। इनके नमूने साक्ष्य के तौर पर लिए गए हैं। युवती के हाथों पर मेहंदी लगी है जबकि कानों में छोटी-छोटी दो-दो बालियां मिली हैं।
हिमानी वैश्य लॉ कॉलेज से वकालत की पढ़ाई करने के साथ कांग्रेस की सक्रिय कार्यकर्ता के तौर पर काम करती थी। विजय नगर में हिमानी के पड़ोसियों ने बताया कि हिमानी नरवाल घर पर अकेली रहती थी। मां और छोटा भाई दिल्ली में रहते हैं। वे यहां आते रहते थे। संभवतः यही वजह रही कि युवती के घर नहीं लौटने का परिजनों पता नहीं लगा। ऐसे में उसकी कहीं गुमशुदगी की रिपोर्ट नहीं लिखवाई गई।
हिमानी नरवाल की मां सविता ने बताया कि मेरे बड़े बेटे की 2011 में हत्या कर दी गई और हमें कभी न्याय नहीं मिला। इसलिए, मैं उसे (दूसरे बेटे को) उसकी जान बचाने के लिए BSF कैंप ले गई। चुनाव के बाद, वह पार्टी से थोड़ा निराश हो गई थी। उसने कहा कि उसे नौकरी चाहिए और वह पार्टी के लिए ज्यादा काम नहीं करना चाहती। उन्होंने कहा कि हिमानी पिछले 10 सालों से कांग्रेस से जुड़ी हुई थी। वह शादी करने के लिए भी राजी हो गई थी। मैंने सुबह आशा हुड्डा को फोन किया था, लेकिन मेरा फोन रिसीव नहीं हुआ। मृतका के भाई जतिन ने बताया कि मेरी बहन ने रागुल गांधी के साथ भारत जोड़ो पदयात्रा की थी।
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