आदित्यपुर : सरायकेला जिले में आम जनता महंगे अस्पताल में इलाज कराते कराते त्राहिमाम हो चुके हैं। छोटी सी घटना घट जाने से पूरे परिवार में उथल-पुथल मचने लगता हैं। परिजनों की जमा पूंजी इलाज में ही खत्म होने लगती है। वही दूसरी तरफ नेताजी सुभाष मेडिकल कॉलेज आम जनमानस के लिए वरदान साबित हो रहा है। झारखंड के सरायकेला- खरसावां जिला के आदित्यपुर स्थित नेताजी सुभाष मेडिकल कॉलेज अस्पताल महंगाई के दौर में मरीज के लिए जीवन रक्षक बनकर उबर रही है। जिले में इसी साल 17 अप्रैल को आदित्यपुर में 650 बेड के मेडिकल कॉलेज अस्पताल का उद्घाटन हुआ है। यह अस्पताल हर दिन तरक्की के मिशाल गढ़ रहा है। इसी कड़ी में शनिवार को यहां के कुशल डॉक्टरों की टीम ने पहला सफल सर्जरी किया। इस मौके पर अस्पताल के प्रबंध निदेशक मदन मोहन सिंह ने डॉक्टरों को शुभकामनाएं दी। उन्होंने बताया कि हम शिक्षा के बाद स्वास्थ्य के क्षेत्र में क्रांति लाने को लेकर कृत संकल्पित हैं। इतना ही नहीं दूसरे निजी अस्पतालों की तुलना में इस अस्पताल में इलाज के खर्च लगभग आधे से भी कम होंगे बता दे कि जिन मरीजों का सर्जरी नेताजी सुभाष मेडिकल कॉलेज अस्पताल में हुआ दरअसल वे नेताजी सुभाष स्कूल के ही छात्र हैं। शुक्रवार को सड़क हादसे में तीन बच्चे घायल हो गए थे। तीनों को पहले टाटा मुख्य अस्पताल ले जाया गया जहां भारी भरकम 60000 हजार बिल जमा करने की बात कही गई। उसके बाद अस्पताल के डॉक्टरों ने अपने अस्पताल में ही सर्जरी करने का निश्चय किया और मात्र 15 हजार के मामूली खर्च पर सर्जरी कर बच्चों के परिजनों के चेहरे पर खुशी की चमक बिखेर दी। हालांकि पूरा खर्च प्रबंधन ने उठाया। संस्थान के प्रबंध निदेशक ने बताया कि 10 दिनों के भीतर यहां प्रसव की सेवा शुरू कर दी जाएगी। सामान्य प्रसव के लिए मात्र तीन हजार और सिजेरियन में छः से सात हजार का खर्च आएगा। इसके अलावा किसी भी तरह की जांच अन्य अस्पतालों की तुलना में बेहद कम है. ओपीडी सेवा सदा के लिए निःशुल्क रहेगी। उन्होंने बताया कि हम अपने संस्थान में कुशल डॉक्टर और मेडिकल सपोर्ट स्टाफ की नियुक्ति कर रहे हैं। आने वाले दिनों में इसके सार्थक परिणाम देखने को मिलेंगे। नेताजी सुभाष ग्रुप का एक और मेडिकल कॉलेज अस्पताल पटना के बिहटा में संचालित हो रहा है। वहां की सफलता के बाद अब समूह ने चिकित्सा के क्षेत्र में झारखंड में पहला कदम बढ़ाया है।इसके सार्थक परिणाम सामने आने लगे हैं। साथ ही संस्थान के चेयरमैन व कुलाधिपति मदन मोहन सिंह ने पत्रकारों को इलाज के लिए 25 परसेंट छूट देने की बात कही।
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